मीडिया सूत्रों के अनुसार :
पश्चिम बङ्गे मुख्यमंत्री ममता बनर्जी राज्यपाल जगदीप धनखड़स्य मध्य पूर्व बहु कालात् कलहम् चलति यत् सम्प्रति अबर्ध्यत् च् अवलोकयति ! सोमवासरम् इयम् कलहम् बहु अबर्ध्यत् यदा राज्यपालः सर्कारम् चेतम् दत्तम् अकथयत्, मह्यं पूर्व बहु कालात् अनवलोकिते यदि च् इदृशं अरहत् तर्हि पुनः मह्यं विवशतापूर्वक संविधानस्य तम् अनुच्छेद १५४ इत्यस्य प्रयोगम् करिष्यते यत् कथयति तत राज्यस्य शक्तिनि राज्यपाले निहितम् भविष्यति !
पश्चिम बंगाल में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी तथा राज्यपाल जगदीप धनखड़ के बीच पिछले काफी समय से तकरार चल रही है जो अब और बढ़ती हुई नजर आ रही है ! सोमवार को यह तकरार और बढ़ गई जब राज्यपाल ने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा, मुझे पिछले काफी समय से नजरअंदाज किया जा रहा है और अगर ऐसा ही रहा तो फिर मुझे मजबूरन संविधान के उस अनुच्छेद 154 का इस्तेमाल करना पड़ेगा जो कहता है कि राज्य की शक्तियां राज्यपाल में निहित होंगी !
राज्यपाल धनखड़: इयमपि दृढ़ कथनम् अकरोत् तत राज्ये विधिम् व्यवस्थाम् च् पूर्ण रूपेण क्षतिग्रस्तम् अभवत् यद्यपि माओवादी विद्रोहम् राज्यैपि स्व शिरम् उत्थायति ! सः अग्रम् अकथयत् तत राज्यस्य विधिम् व्यवस्थास्य स्थिते पतनस्य सम्बन्धे आरक्षक महानिदेशकम् अलिखत् स्व पत्रे सः अकथयत् तस्य राज्यस्य आरक्षक सत्ताधीशम् टीएमसी इत्यस्य अनुरूपम् कार्यम् करोति ! पश्चिम बंगस्य राज्यपालः प्रश्नम् अकरोत् तत यदि संविधानस्य सुरक्षाम् न अक्रियते, तर्हि मह्यं कार्यवाहिम् करिष्यते !
राज्यपाल धनखड़ ने यह भी दावा किया कि राज्य में कानून और व्यवस्था पूरी तरह से ध्वस्त हो गई है जबकि माओवादी विद्रोह राज्य में भी अपना सिर उठा रहा है ! उन्होंने आगे कहा कि राज्य के कानून और व्यवस्था की स्थिति में गिरावट के संबंध में पुलिस महानिदेशक को लिखे अपने पत्र में उन्होंने कहा कि राज्य की पुलिस सत्ताधारी टीएमसी की तरह कार्य कर रही है ! पश्चिम बंगाल के राज्यपाल ने सवाल किया कि यदि संविधान की रक्षा नहीं की गई, तो मुझे कार्यवाही करनी होगी !
राज्यपालः २६ सितम्बरम् अलिखत् मुख्यमंत्रिस्य पत्रस्य विस्तृत उत्तरम्दत्तम् अलिखत् मह्यं विश्वास अस्ति तत भवती आरक्षकस्य राजनीतिक तटस्थता सुनिश्चित कृताय त्वरित पगम् उत्थाष्यति तस्य च् दोषपूर्ण पापानि ढक्कस्य अतरिक्त तस्य उत्तरदायित्वम् सुनिश्चितम् करिष्यति !
राज्यपाल ने 26 सितंबर को लिखे मुख्यमंत्री के पत्र का विस्तृत जवाब देते हुए लिखा मुझे विश्वास है कि आप पुलिस की राजनीतिक तटस्थता सुनिश्चित करने के लिए तत्काल कदम उठाएंगी और उनके दोषपूर्ण अपराधों को कवर करने की बजाय उनकी जवाबदेही तय करेंगी !
इत्यात् पूर्व दिवसम् पश्चिम बङ्ग सर्कारम् राजभवनाय बजट आवंटन वृद्धाय राज्यपाल धनखड़स्य अनुरोधम् न स्वीकृतवन्तः ! राज्यपाल कार्यालयम् वर्तमानस्य दिवसेषु राज्य सचिवालयं एकम्पत्रम् अलिखत् स्म यस्मिन् दैनिकस्य व्ययानि पूर्ण कृताय ५३.५ लक्ष रूप्यकस्य अतिरिक्त धनराशिस्य याचनाम् कृतवान स्म !
इससे पहले दिन पश्चिम बंगाल सरकार ने राजभवन के लिए बजट आवंटन बढ़ाने के लिए राज्यपाल धनखड़ के एक अनुरोध को ठुकरा दिया था ! राज्यपाल कार्यालय ने हाल के दिनों में राज्य सचिवालय को एक पत्र लिखा था जिसमें रोजमर्रा के खर्चों को पूरा करने के लिए 53.5 लाख रुपये की अतिरिक्त धनराशि की मांग की गई थी !
सः इयमपि अकथयत् तत तृणमूल कांग्रेस सरकारेन क्रियतेति इलेक्ट्रॉनिक इति अन्वेषणस्य कारणेन तेन व्हाट्सएप्प वीडियो कॉल इति कृतम् विवश भव्यते ! धनखड़: अकथयत् पश्चिम बंगम् आरक्षकम् शासितम् राज्य निर्मयते ! आरक्षकस्य शासनम् लोकतन्त्रेन सह सह न प्रस्थितशक्नोति ! राज्ये विधिव्यवस्थाम् समाप्तम् अभवत् ! माओवादीम् उग्रवादम् स्व शिरम् उत्थायति ! इति राज्येन अतंकिम् मॉड्यूल इत्यापि गतिविधिनि प्रचालन्ति !
उन्होंने यह भी कहा कि तृणमूल कांग्रेस सरकार द्वारा की जा रही इलेक्ट्रॉनिक निगरानी की वजह से उन्हें व्हाट्सएप्प वीडियो कॉल करने को मजबूर होना पड़ रहा है ! धनखड़ ने कहा पश्चिम बंगाल पुलिस शासित राज्य बन गया है ! पुलिस का शासन और लोकतंत्र साथ-साथ नहीं चल सकते ! राज्य में कानून व्यवस्था चरमरा गयी है ! माओवादी उग्रवाद अपना सिर उठा रहा है ! इस राज्य से आतंकी मॉड्यूल भी गतिविधियां चला रहे हैं !
धनखड़: जुलाई २०१९ तमे पश्चिम बंगस्य राज्यपालस्य रूपे कार्यभारम् ग्रहणति स्म तदैव च् तस्य तृणमूल कांग्रेस सरकरात् गतिरोधम् सम्मुखम् आगच्छते ! सः डीजीपी वीरेंद्रम् इति मासस्य प्रारम्भे पत्रम् लिखित्वा राज्यस्य विधिव्यवस्थास्य स्थिते चिन्ताम् व्यक्तम् अकरोत् स्म ! मुख्यमंत्री ममता बनर्जी २६ सितंम्बरम् राज्यपालं पत्रम् लिखित्वा तेन आग्रहम् कृतवान तत सः संविधाने निर्देशितम् कार्यक्षेत्रे वसम् कार्यम् कुर्यातु !
धनखड़ ने जुलाई 2019 में पश्चिम बंगाल के राज्यपाल के रूप में कामकाज संभाला था और तब से ही उनका तृणमूल कांग्रेस सरकार से गतिरोध सामने आता रहा है ! उन्होंने डीजीपी वीरेंद्र को इस महीने की शुरुआत में पत्र लिखकर राज्य की कानून व्यवस्था की स्थिति पर चिंता व्यक्त की थी ! मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने 26 सितंबर को राज्यपाल को पत्र लिखकर उनसे आग्रह किया कि वह संविधान में निर्देशित कार्यक्षेत्र में रहते हुए काम करें !